बारहवीं बोर्ड की परीक्षा शुरू हो चुकी है |कुछ छात्र परीक्षा को लेकर एकदम शांत भाव में रहते हैं तो कुछ एकदम से परेशान स्थिति में रहते हैं |परीक्षाएं समाप्त होते ही प्रतियोगी परीक्षाएं शुरू हो जाएँगी |बारहवीं के बाद मुख्यतः इंजीनियरिंग और मेडिकल की प्रतियोगी परीक्षा हेतु हर वर्ष लाखों की तादाद में बच्चे तैयारी करते हैं और परीक्षा देते हैं |यह वह समय होता है जब बच्चों के माता पिता उनके भविष्य को लेकर तो चिंतित होते ही हैं ,बच्चे भी अपने कैरियर को लेकर मानसिक अवसाद से ग्रसित हो जाते हैं | क्या मैं प्रतियोगी परीक्षा में सफल हो पाउँगा ?? क्या मुझे इतने अंक आएंगे की मैं अपने पसंद के कॉलेज में दाखिला ले सकूँ ?? मन माफिक विषयों का चुनाव कर सकूँ ??बच्चा कितनी भी मेहनत करे फिर भी उनके साथ साथ माता पिता भी इन्ही सवालों को लेकर परेशान होते रहते हैं |ऐसे समय में ज्योतिष बहुत सहायक होता है |समय रहते हर माता पिता अपने बच्चों की कुंडली से अगर यह जान लेंगे कि उनका बच्चा इंजीनियर बन पायेगा , डॉक्टर बन पायेगा या कुछ और बनेगा जिसके लिए इन दोनों के अलावा किसी शिक्षा कि जरूरत हो तो न सिर्फ वे चिंता मुक्त हो सकेंगे बल्कि अपने बच्चे के सुखद कैरियर कि नींव भी रख सकेंगे |
आज हम ज्योतिष से जानेंगे कि आपकी कुंडली में इंजीनियरिंग कि पढाई करने का योग है या नहीं | साथ ही साथ यह भी जानेंगे कि इंजीनियरिंग शिक्षा कि कौन सी शाखा आपके लिए उपयुक्त रहेगा |
इंजीनियरिंग की पढाई अर्थात आम भाषा में कहें तो टेक्निकल शिक्षा | आपकी कुंडली का पंचम भाव ,पंचमेश यदि मंगल,शनि,सूर्य,राहु,केतु से मजबूत सम्बन्ध यदि बना रहा है तो आप इस तरह की शिक्षा प्राप्त कर सकते हैं |इसके साथ कारक बुध की मजबूत स्थिति ,पंचम और दशम का सम्बन्ध और उपयुक्त दशा का सम्बन्ध आपका मार्ग प्रशस्त करेगा |
अपनी कुंडली में आप अपना ध्यान केंद्रित करें – पंचम भाव ,पंचमेश , कारक बुध और चल रही दशा पर | पंचम के साथ दशम का सम्बन्ध प्रोफेशनल शिक्षा को बल प्रदान करता है |अगर कुंडली में यह सम्बन्ध कमजोर है या नहीं है तो हो सकता है की आपने पढाई कुछ की और व्यवसाय या कार्य क्षेत्र कुछ और चुन लिया |
इसके बाद कुंडली को पढ़ना शुरू करें, अपने पसंद के विषय का चुनाव करें और मानसिक व्यथा से मानसिक परेशानी से मुक्त हो जाएँ |आइये इनको आधार बनाकर हम आगे बढ़ें |
आपकी कुंडली में मंगल, शनि ,बुध और सूर्य का सम्बन्ध पंचम के साथ साथ दशम से भी यदि बन रहा है तो मैकेनिकल इंजीनियरिंग की पढाई आपके लिए उपयुक्त रहेगा |
आपकी कुंडली में मंगल ,शनि, बुध के साथ पंचम,दशम तो जुड़े ही साथ में चतुर्थ भाव भी जुड़ रहा हो और सम्बंधित दशा भी मिल रही हो तो सिविल इंजीनियरिंग आपके लिए बेहतर रहेगा |
आपकी कुंडली में मंगल,शनि के साथ चंद्र और जलीय राशि का सम्बन्ध बना हो तो आपके लिए केमिकल इंजीनियरिंग की पढाई उपयुक्त होगा |
आपकी कुंडली में यदि सूर्य का साथ मंगल या शनि के साथ अग्नि तत्व राशि में हो रहा हो और इसके साथ बुध की स्थिति भी कुंडली में मजबूत हो तो आपके लिए इलेक्ट्रिकल और इलेक्ट्रॉनिक्स इंजीनियरिंग की पढाई उपयुक्त रहेगा |
कुंडली में सूर्य का साथ मंगल या शनि से यदि अग्नि तत्व राशि या वायु तत्व में हो रहा हो और इससे बुध और केतु दोनों जुड़ जाएँ तो आपके लिए कंप्यूटर इंजीनियरिंग की पढाई उपयुक्त है |
तो देखा आपने ज्योतिष कितना सहायक है आपकी शिक्षा के निर्धारण में | सिर्फ शिक्षा ही नहीं बल्कि सुखद भविष्य के निर्धारण में | बस आप अपने मन को नियंत्रित रखें |विचारों के उठ रहे बवंडर आपको पथ से विचलित न कर दे इसके लिए मन पर बुद्धि का लगाम रखें |
नियमित ॐ का जाप करें |
गायत्री मन्त्र का जाप करें |
सरस्वती मन्त्र का जाप करें |
“सरस्वती महाभागे विद्ये कमल लोचने
विद्यारुपी विशालाक्षी विद्याम देहि नमोस्तुते ”
@B Krishna Narayan
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